
1976 में हुए 42वें संविधान संशोधन के बाद भारत के संविधान की प्रस्तावना में धर्मनिरपेक्ष और समाजवाद शब्द जोड़े गए थे. लेकिन अब दो वकीलों ने इन्हें हटाने की मांग करते हुए अदालत में याचिका दायर की है. आज ज्ञान ध्यान में नितिन ठाकुर से सुनिए क्या है संविधान की प्रस्तावना और उसमें जुड़े इन दो शब्दों के मायने जिन्हें अब चुनौती दी गई है.


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