तीन ताल सीज़न 2 के 34वें एपिसोड में कमलेश ताऊ, आसिफ़ खां चा और जमशेद क़मर सिद्दीक़ी के साथ सुनिए:
- मालदीव और लक्षद्वीप की बहस का सार, मालदीव की भाषा और कल्चर और घूमने के लिए बेहतर जगहें
- जवानी को कैसे डिफाइन करें और जवानों का योगदान
- हेलो फ्रेंड्स वाले रीलिये, रील और रियल वर्ल्ड का फ़र्क़ और कौन सी किताबें न पढ़ें
- जवानी का की पहचान और आजकल जवानी क्यों खप नहीं रही है
- धार्मिक आइडेंटिटी तलाशती युवा पीढ़ी और नौजवानों की भेड़चाल,
- यूथ का गहना, चौराहे पर खड़ी जवानी और जवान होने के लिए ये बेस्ट टाइम क्यों है
- युवकों के बदलते एस्पिरेशन्स और एम्बिशन्स और उनकी एनर्जी कहाँ लग रही है
- पहले और अब के जवानों की आशिक़ी और नवयुवकों के प्रति खब्तीपन
- बिज़ारोत्तेजक ख़बर में न्यू ईयर पार्टी के लिए बालू से भरा ट्रक लूटने वाले लखनऊआ लोग
- लखनऊ की तहज़ीब, लखनऊ-भोपाल की गालियां और सलीके को ज़िंदा रखने वाले शहर
- लखनऊ की हाज़िरजवाबी, यहाँ की बिरयानी, क़बाब और चाय
- बनारस की सुबह, लखनऊ की शाम और बसों को ट्रेन बनाने की क़ला
- भंडारे की जानकारी के लिए ऐप बनाने वाले लोग
- और आख़िर में प्रिय तीन तालियों की प्रेमपूर्ण पत्र
प्रड्यूसर: कुमार केशव
साउंड मिक्सिंग: नितिन रावत
जनगन्ना का गन्ना, फूफा के फफोले और भौकाल प्रसारण : तीन ताल S2 120
समाजवाद का आलस, झूठ का एक्शन रीप्ले और अनानास की बकवास : तीन ताल S2 119
मुनीर की भौं-भौं, बिलावल की चौं-चौं और पेट की गों-गों : तीन ताल S2 117
बाल का बतंगड़, देख-रेख के फ़साने और भर्ती के भरतमुनि : तीन ताल S2 116
जगदीप की बाती, बैचलर्स से बैर लोडोनिया के लौंडे : तीन ताल S2 114
वल्चर का वेंचर, मृतकों का फेसबुक और स्टार्टअप के स्टंट : तीन ताल S2 113
स्वर्ग में संस्कृत, गोबर में गोल्ड और झुमके से झगड़ा : तीन ताल S2 112